November 22, 2024

प्राण प्रतिष्ठा से पहले देखे रामलाल के मूर्ति की एक झलक,देखिए मूर्ति के वजन से लेकर अंकित ॐ से लेकर गरुड़ तक की छवि

प्राण प्रतिष्ठा से पहले देखे रामलाल के मूर्ति की एक झलक

प्राण प्रतिष्ठा से पहले देखे रामलाल के मूर्ति की एक झलक

प्राण प्रतिष्ठा से पहले देखे रामलाल के मूर्ति की एक झलक,देखिए मूर्ति के वजन से लेकर अंकित ॐ से लेकर गरुड़ तक की छवि,अपने ‘रामलला’ कैसे दिखते हैं, जब आप उनको देखेंगे तो आप भावुक हो जाएंगे। रोम-रोम में भावुकता जाग उठेगी और तन-मन में एक अलग सा एहसास जाग्रत हो रहा होगा। खुशी भी बेशुमार होगी।

प्राण प्रतिष्ठा से पहले देखे रामलाल के मूर्ति की एक झलक,देखिए मूर्ति के वजन से लेकर अंकित ॐ से लेकर गरुड़ तक की छवि

बता दें कि, 18 जनवरी को रामलला की नई मूर्ती भ्रमण के बाद मंदिर में प्रवेश कराकर गर्भगृह में स्थापित कर दी गई है। यानि रामलला अब अपने आसन पर हैं। रामलला की मूर्ती यहीं खड़ी होगी और मूर्ती की प्राण प्रतिष्ठा की जाएगी। मालूम रहे कि, 16 जनवरी से प्राण प्रतिष्ठा के लिए पूजन विधी शुरू हो चुकी है। 16 जनवरी से लेकर 21 जनवरी तक प्राण प्रतिष्ठा से संबन्धित अलग-अलग प्रकार की पूजा की जाएगी। इस दौरान बड़े कड़े पवित्र नियमों का ध्यान रखा जा रहा है।

प्राण प्रतिष्ठा से पहले देखे रामलाल के मूर्ति की एक झलक,देखिए मूर्ति के वजन से लेकर अंकित ॐ से लेकर गरुड़ तक की छवि

रामलला प्राण प्रतिष्ठा का मुहूर्त और मुख्य अतिथि

22 जनवरी को दोपहर 12 बजकर 20 मिनट से रामलला की प्राण प्रतिष्ठा शुरू होगी और करीब 1 बजे तक पूरी हो जाएगी। काशी के विद्वान पंडित वैदिक विधि से प्राण प्रतिष्ठा कराएंगे। वहीं राममंदिर के ट्रस्टी अनिल मिश्रा अपनी पत्नी के साथ मुख्य रूप से यजमानी करेंगे। जबकि पीएम मोदी प्रतीकात्मक यजमान होंगे। जिसके लिए पीएम मोदी भी प्राण प्रतिष्ठा नियमों का पालन कर रहे हैं। श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने जानकारी दी है कि, प्राण प्रतिष्ठा के बाद सभी महानुभाव, प्रधानमंत्री, डॉ. मोहन भागवत और मुख्यमंत्री अपने मनोभाव प्रकट करेंगे। जबकि 23 जनवरी की सुबह से देश-दुनिया के सभी के लिए राम मंदिर खुल जाएगा। लोग अयोध्या आकर भगवान राम के दर्शन कर सकते हैं।

रामलला की श्यामल रंग की मूर्ति के वजन से लेकर अंकित ॐ से लेकर गरुड़ तक की छवि

रामलला की नई मूर्ति श्यामल रंग की है और नेपाल से आए शालिग्राम पत्थर पर बनी है। गर्भगृह में मूर्ती स्थापित करते समय पूजा-अर्चना की गई है। अभी रामलला की आंखों में पट्टी बंधी हुई है। बता दें कि, रामलला 5 साल के बाल स्वरूप में विराजमान हो रहे हैं। मूर्ती का वजन 150 से 200 किलो है जबकि मूर्ती की लंबाई 51 इंच है। रामलला की यह मूर्ती देश के प्रसिद्ध मूर्तिकार योगीराज अरुण द्वारा बनाई गई है। योगीराज अरुण कर्नाटक के मैसूर के रहने वाले हैं। केदारनाथ में स्थापित आदि शंकराचार्य की मूर्ति और दिल्ली में इंडिया गेट के पास स्थापित सुभाष चंद्र बोस की मूर्ति बनाने वाले प्रसिद्ध मूर्तिकार योगीराज अरुण ही हैं। ‘रामलला’ की मूर्ति तराशने के लिए श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट द्वारा तीन मूर्तिकारों को चुना गया था। उन तीन मूर्तिकारों में अरुण शामिल थे।

अयोध्या राम मंदिर की विशेषताएं

अयोध्या का यह राम मंदिर देश-दुनिया का सबसे बड़ा और भव्य राम मंदिर होगा। दक्षिण के मंदिरों की शैली में मंदिर बनाया गया है। जानकारी के अनुसार, पूर्व से पश्चिम तक 380 फीट से ज्यादा मंदिर की लंबाई और 250 फीट चौड़ाई है। मंदिर का पूरा परिसर 70 एकड़ का है, लेकिन मंदिर निर्माण 25 से 30% जगह में हुआ है और बाकी बाकी ग्रीन परिसर है। वहीं राम मंदिर 3 मंजिल का है। हर मंजिल की ऊंचाई 20 फीट है। मंदिर के निचले तल यानि भूतल पर बीच में गर्भगृह है, जहां रामलला रहेंगे। इस तल पर सोने के 14 दरवाजे लगाए गए हैं।

Read Also: Siya Ram Rangoli Degines 2024: रामलला के स्वागत में बनाये ये खूबसूरत रंगोली डिजाइन,देखे घर के द्वार- पूजा स्थान

वहीं प्रथम तल पर राम दरबार होगा। मंदिर में 392 खंभे और 40 से ज्यादा दरवाजे हैं। खंभों पर देवी-देवताओं की आकर्ति और सनातन चिन्ह हैं। मंदिर के प्रवेश सिंह द्वार पर 32 सीढ़ियाँ हैं। मंदिर में पूर्व की दिशा से प्रवेश की व्यवस्था है जबकि दर्शन के बाद दक्षिण दिशा से निकास है। बुजुर्ग-दिव्यंगों के लिए लिफ्ट और दो रैम्प की व्यवस्था है। वहीं दर्शन करने आने वालों के लिए 25000 लॉकर की व्यवस्था की गई है। वहीं मंदिर में इमेर्जेंसी के लिए एक रास्ता रखा गया है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *